भारतीय सेना-अभ्यासों की सूची और योगदान (2025)
भारत हर साल कई सैन्य अभ्यास आयोजित करता है और अन्य देशों के साथ मिलकर भी विभिन्न-सेना अभ्यासों में भाग लेता है। ये अभ्यास युद्ध-तैयारी, रणनीतिक सहयोग और परिचालन दक्षता बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
2025 के अभ्यास और भागीदार
विभिन्न अभ्यासों में भारत ने निम्न देशों और स्थानों के साथ अभ्यास किया है:
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“Exercise Ekuverin” भारत और मालदीव के बीच, मालदीव में; 2-15 फरवरी 
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“Exercise Desert Hunt” भारतीय थल, नौसेना और वायु सेना द्वारा; एयर फोर्स स्टेशन जोधपुर; 24-28 फरवरी 
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“Bono Sagar Naval Exercise” भारत और बांग्लादेश; बंगाल की खाड़ी; 10-12 मार्च 
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“Varuna Naval Exercise” भारत और फ्रांस; अरब सागर; 19-22 मार्च 
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“Exercise Sea Dragon” ऑस्ट्रेलिया, भारत, जापान, कोरिया और अमेरिका; गुआम के एंडरसन एयर फोर्स बेस; 4-19 मार्च 
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“INDRA 2025” भारत और रूस; बे ऑफ बंगाल; हार्बर और सी फेज में; मार्च-अप्रैल 
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“Tiger Triumph” भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच त्रि-सेना-मानवतावादी सहायता एवं आपदा राहत अभ्यास; भारत की पूर्वी तटभूमि; 1-13 अप्रैल 
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“DUSTELIK-VI” भारत और उजबेकिस्तान; पुणे के ऑंध में; 16 अप्रैल 
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“Passage Exercise (PASSEX)” भारत-यूके नौसेना अभ्यास; उत्तरी अरब सागर; 9-10 जून 
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“Exercise SHAKTI-VIII” भारत और फ्रांस; कैंप लारज़ैक (Camp Larzac), ला कैवलरी, फ्रांस; 18 जून-1 जुलाई 
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“Jaa Mata Exercise” जापान और भारतीय कोस्ट गार्ड; चेन्नई; 7-12 जुलाई 
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“Exercise Bold Kurukshetra” भारत और सिंगापुर; जोधपुर, राजस्थान; 28 जुलाई-4 अगस्त 
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“32nd edition of SIMBEX-25” भारत और सिंगापुर; जुलाई 2025 
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“Exercise Divya Drishti” थल सेना की युद्ध तत्परता का आकलन; पूर्व सिक्किम क्षेत्र; जुलाई 2025 
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“12th edition of Exercise SLINEX” भारत और श्रीलंका; समय क्षेत्र दिसंबर 2024-2025 
2024 के कुछ विशेष अभ्यास
2024 में भारत ने भी कई अभ्यासों में हिस्सा लिया या अभ्यास स्वयं आयोजित किए:
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“Desert Cyclone” भारत-UAE; राजस्थान; 2-15 जनवरी 
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“Ex Cyclone-I” भारत-मिस्र; अनशास, मिस्र; 22 जनवरी-1 फरवरी 
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“Exercise Cyber Suraksha” भारत; 20-24 मई 
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“SHAKTI” भारत-फ्रांस; उमरोई, मेघालय; 13-26 मई 
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“SIMBEX” भारत-सिंगापुर; विजाग; 28 फरवरी-2 मार्च 
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“DUSTLIK” भारत-उजबेकिस्तान; परमाणित स्थल, वहां-यहाँ; अप्रैल 2024 
भारतीय सैन्य अभ्यासों की विशेषताएँ
भारत में सैन्य अभ्यास तीन प्रकार के होते हैं- घरेलू अभ्यास, द्विपक्षीय अभ्यास और बहुपक्षीय अभ्यास। प्रत्येक प्रकार की भूमिका अलग-अलग है।
घरेलू अभ्यास
घरेलू अभ्यासों का उद्देश्य संबंधित भारतीय सेनाएँ (थल, वायु, नौसेना) अपनी परिचालन क्षमता, आपदा प्रबंधन, विशेष बलों की क्षमता, रणनीतिक तैयारियों आदि को परखे। उदाहरण के लिये जोधपुर में “Desert Hunt” जैसा अभ्यास जिसमें थल सेना के पैराट्रूपर्स, नौसेना कमांडोज़ और वायु सेना के विशेष दस्ते शामिल हैं।
द्विपक्षीय अभ्यास
द्विपक्षीय अभ्यास भारत और एक अन्य देश के बीच होते हैं। ये अभ्यास देशों के बीच सैन्य सहयोग, सामूहिक प्रशिक्षण व सामंजस्य बढ़ाने के साधन होते हैं। जैसे भारत-यूएसए का “Tiger Triumph” मानवतावादी आपदा राहत अभ्यास, भारत-फ्रांस का “Varuna Naval Exercise”, भारत-सिंगापुर का “Bold Kurukshetra” आदि।
बहुपक्षीय अभ्यास
बहुपक्षीय अभ्यास कई देशों के बीच होते हैं। इनका उद्देश्य साझा सुरक्षा चुनौतियों, सामूहिक रणनीतियों और अंतरराष्ट्रीय मेल-जोल को बढ़ाना है। जैसे “Exercise Sea Dragon” जिसमें ऑस्ट्रेलिया, जापान, कोरिया, अमेरिका और भारत शामिल है; “Malabar” जैसा अभ्यास; “Pitch Black” आदि।
अभ्यासों का महत्व
ये अभ्यास भारत के लिए कई मायनों में लाभदायक हैं। सबसे पहले ये अभ्यास युद्ध-तैयारी को बढ़ाते हैं और सेना की सामरिक क्षमता को मजबूत करते हैं। दूसरे, ये अभ्यास अन्य देशों के साथ सहयोग और विश्वास विकसित करने में सहायक होते हैं। तीसरे, प्राकृतिक आपदाओं या मानवीय संकट की स्थिति से निपटने की तैयारियों में भारतीयडीप स्किल और संगठनात्मक दक्षता में सुधार करते हैं। अंत में ये अभ्यास नई तकनीकों, रणनीतियों और युद्ध-प्रणालियों की जानकारी साझा करने का अवसर देते हैं, जिससे भारतीय सेना एवं उसके विभिन्न अंग नई चुनौतियों के प्रति बेहतर तैयार हो पाते हैं।
 


 
